Home हड़ताल कर्मचारी संगठनों की हड़ताल 17 सूत्रीय मांगों का सौंपा ज्ञापन

कर्मचारी संगठनों की हड़ताल 17 सूत्रीय मांगों का सौंपा ज्ञापन

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उमरिया – प्रदेश के 6 कर्मचारी संगठनों ने एक दिवसीय हड़ताल कर संयुक्त रूप से रैली निकाल कर मुख्यमंत्री के नाम 17 सूत्रीय मांगों का ज्ञापन जिले के कलेक्टर को सौंपा।

इनकी मांगें इस प्रकार हैं।
विभागाध्यक्ष एवं उसके अधीनस्थ कार्यालयों में कार्यरत लिपिकों को भी मंत्रालय के समान समयमान वेतनमान का लाभ दिनांक 01/04/2006 से दिया जावे।
भृत्य का पदनाम परिवर्तित किया जाकर कार्यालय सहायक किया जावे।
अनुकम्पा नियुक्ति सहायक ग्रेड 3 को निर्धारित समयावधि में सी.पी.सी.टी. परीक्षा उत्तीर्ण न कर पाने के कारण सेवा समाप्त न की जावे तथा जिन कर्मचारियों की सेवा समाप्त की गई है उन्हें सेवा में लिया जावे।
टैक्सी प्रथा बंद की जावे तथा विभागों में वाहन चालकों के रिक्त पदों पर भर्ती प्रक्रिया तत्काल प्रारंभ की जाकर समाप्त किये गये पदों को पुनर्जीवित किया जावे।
दिनांक 01/01/2005 के पश्चात् नियुक्त कर्मचारियों के लिए नयी पेंशन प्रणाली को बंद किया जाकर पुरानी पेंशन बहाल की जावे।

  • वर्ष 2016 से बंद तृतीय एवं चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों की पदोन्नति पात्रता दिनांक से की जाये।
    सहायक ग्रेड 3 एवं कम्प्यूटर ऑपरेटर की योग्यता एवं कार्य एक समान होने के कारण सहायक ग्रेड 3. को कम्प्यूटर ऑपरेटर के समान ग्रेड पे 2400 दिया जावे।
    सहायक शिक्षक शिक्षकों को तृतीय क्रमोन्नति वेतनमान के स्थान पर समयमान वेतनमान पदोन्नति पदनाम दिया जाये व शिक्षकों को केन्द्र के अनुरूप 6वें एवं 7वें वेतनमान का लाभ दिया
    सीधी भर्ती के पद पर दिये जा रहे स्टायफंड 70, 80 एवं 90 प्रतिशत के स्थान पर नियुक्त दिनांक से संबंधित पद का वेतनमान दिया जाये।
    विभिन्न संवर्ग के अधिकारी एवं कर्मचारियों तथा लिपिक कार्यपालिक एवं तकनीकि कृषि विस्तार अधिकारी कलाकार, महिला बाल विकास सुपरवाईजर पॉलिटेक्निक एवं उच्च शिक्षा के प्रयोगशाला तकनीशियन, वनरक्षक, वनपाल संवर्ग सहित अन्य विभाग के मंचों में व्याप्त की विसंगतियों को दूर किया जाये। राज्य पुर्नगठन की धारा 49(6) का बंधन पेंशनरों के लिए समाप्त करते हुए प्रदेश के पेंशनरों को भी देय तिथि से महगाई भत्ता प्रदान किया जाय साथ ही छठवें वेतनमान के 32 माह एवं 7वे वेतनमान के 27 माह का एरियर का केंद्र के पेंशनर नियम 1976 में संशोधन कर अविवाहित, विधवा, तलाकशुदा एवं परित्यक्ता पुत्री को आजीवन परिवार पेंशन दिया जाये।
    अर्हतादायी पूर्ण पेंशन की पात्रता 33 वर्ष के स्थान पर केंद्र एवं राज्यों के समान 25 की जावे।
    हैंडपंप तकनीशियन की वेतन विसंगति दूर कर 5वें वेतनमान के अनुसार 4000 – 6000 किया जाये। नियुक्ति दिनांक से प्रभावशील वेतनमान 1150-1800 मान्य किया आकर पुनर्नियम की कार्यवाही को समाप्त किया जाये तथा अवकाश नगदीकरण की सुविधा प्रदान की जाये।
    कार्यभारित कर्मचारियों के सेवानिवृत्ति के उपरांत नियमित कर्मचारियों के समान अवकाश नकदीकरण का लाभ प्रदान किया जाये।
    तृतीय एवं चतुर्थ श्रेणी के रिक्त पदो पर आउटसोर्स के माध्यम से की रही भर्ती पर पूर्णतः प्रतिबंध लगाते हुये 45000 कर्मचारियों को शीघ्र 7वे वेतन का लाभ देते हुए नियमित कर्मचारियों के समान समस्त सुविधा प्रदान की जाये। वर्ष 2007 के बाद नियमित दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों को स्थायीकर्मी का दर्जा दिया जाय।
    महंगाई भत्ते के एरियस की राशि देय तिथियों से दिया जावे।
    अंशकालीन कर्मचारी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका, आशा कार्यकर्ता, कोटवार कर्मचारियों को नियमित किया जाये।

वहीं कलेक्टर की तरफ से ज्ञापन लेने आये अपर कलेक्टर के सी बोपचे ने बताया कि संयुक्त कर्मचारी संघ ने अपनी 17 सूत्रीय मांगों का ज्ञापन मुख्यमंत्री जी के नाम का दिया है, सारी मांगे शासन स्तर से निराकरण होना है इस ज्ञापन मुख्यमंत्री जी तक भेजा जाएगा।

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