सुरेन्द्र त्रिपाठी
उमरिया 20 जून – मध्यप्रदेश शासन लाख दावे कर ले, कि रेत को लेकर नित नए नियम बनाये जा रहे है लेकिन उमरिया जिले में नियमो को ताक में रखकर रेत निकालने का काम जोरो पर है। शासन के नियम कहते है कि नदियों में मशीन लगाकर रेत निकालने का कार्य न किया जाय लेकिन ठेकेदारों के द्वारा नदियों का सीना छलनी करने का काम जोरो पर है और खुलेआम रेत नदियों से दिन रात निकाली जा रही है और जिला प्रशासन आंख बंद करके तमाशा देख रहा है।
उमरिया जिले में आर एस आई स्टोन वर्ड प्राइवेट लिमिटेड को रेत की लगभग 38 खदान स्वीकृत है जिसमें सलैया, खैरभार खदानों से रेत लेकिन शासन के नियमों का पालन ठेकेदार द्वारा नही किया जा रहा है खुलेआम मशीन लगाकर रेत निकालने का काम किया जा रहा है जबकि मध्य प्रदेश शासन के किसान कल्याण तथा कृषि विकास मंत्री कमल पटेल मंत्री का बयान 4 जून 2020 को आया था कि अगर मशीनों से रेत निकाली जाती है तो जिला प्रशासन ठेकेदारों पर कठोर कार्यवाही करें और ड्रोन कैमरों से वीडियोग्राफी करवाये, प्रवासी मजदूरों को काम देना अनिवार्य है लेकिन आज तक ठेकेदार पर कोई भी कार्यवाही नही हुई। इतना ही नही ठेकेदार के द्वारा लगभग 200 बाहरी गुंडों को लाकर जिले में रखा गया है जो ग्रामीणों को धमकी भी देते हैं, बड़ी बात तो यह है कि ठेकेदार के गुंडों की कोई भी इंट्री या आमद जिले के किसी भी थाने में दर्ज नही है, जबकि नियमानुसार जिले में किसी भी बाहरी आदमी की आमद होती है तो संबंधित थाने में सूचना देना आवश्यक होता है।

वही इस मामले में जब जिले के कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव से बात किया गया तो उनका कहना है कि हम अपनी टीम को लेकर रेत खदानों में दबिश दे रहे है पकड़े जाने पर कठोर कार्यवाही की जायेगी।
अब देखना है कि प्रदेश सरकार के आदेश और जिला प्रशासन के प्रयास भारी पड़ते हैं या ठेकेदार के गुंडे।